दीनदयाल उपाध्याय गोरखपुर विश्वविद्यालय ने एनआईआरएफ रैंकिंग 2025 में दो श्रेणियों- यूनिवर्सिटी और राज्य विश्वविद्यालय में स्थान पाकर एक ऐतिहासिक उपलब्धि हासिल की है। जानें किन पहलों ने दिलाई यह सफलता।
गोरखपुर: दीनदयाल उपाध्याय गोरखपुर विश्वविद्यालय ने नेशनल इंस्टीट्यूशनल रैंकिंग फ्रेमवर्क (NIRF) 2025 में पहली बार दो श्रेणियों में स्थान प्राप्त कर एक ऐतिहासिक उपलब्धि हासिल की है। इस महत्वपूर्ण सफलता पर माननीय कुलाधिपति और उत्तर प्रदेश की राज्यपाल श्रीमती आनंदीबेन पटेल ने विश्वविद्यालय की कुलपति प्रो. पूनम टंडन और उनके प्रतिनिधिमंडल को हार्दिक बधाई दी। यह सम्मान समारोह राजभवन, लखनऊ में आयोजित एक विशेष कार्यक्रम के दौरान हुआ, जिसमें प्रदेश के उन 14 विश्वविद्यालयों को सम्मानित किया गया, जिन्हें एनआईआरएफ रैंकिंग में स्थान मिला है।
विश्वविद्यालय को मिलीं दो श्रेणियाँ
दीनदयाल उपाध्याय गोरखपुर विश्वविद्यालय के लिए यह उपलब्धि इसलिए भी खास है क्योंकि इसने पहली बार एक साथ दो महत्वपूर्ण श्रेणियों में जगह बनाई है। विश्वविद्यालय ने ‘यूनिवर्सिटी’ श्रेणी में 151-200 बैंड में और ‘राज्य विश्वविद्यालय’ श्रेणी में 51-100 बैंड में स्थान प्राप्त किया है। यह रैंकिंग विश्वविद्यालय द्वारा पिछले कुछ वर्षों में किए गए शैक्षणिक और शोध-संबंधी प्रयासों का परिणाम है।
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कुलपति ने साझा कीं सफलता की रणनीतियाँ
राजभवन के संवाद कार्यक्रम में कुलपति प्रो. पूनम टंडन ने विश्वविद्यालय की सफलता के पीछे की रणनीतियों को विस्तार से बताया। उन्होंने उल्लेख किया कि विश्वविद्यालय ने अंतरराष्ट्रीय छात्रों को आकर्षित करने, स्कोपस अनुक्रमित पत्रिकाओं में प्रकाशन के लिए शोध पुरस्कार शुरू करने, शोध परियोजनाओं के लिए एक सहायक माहौल बनाने, सामाजिक और एलुमनाई जुड़ाव को मजबूत करने और शिक्षकों को पेटेंट फाइल करने के लिए मार्गदर्शन देने जैसी कई पहलें की हैं। इसके अलावा, ONOS के साथ जुड़कर शोध प्रकाशनों की गुणवत्ता में सुधार करने के प्रयासों ने भी इस रैंकिंग को पाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
अन्य विश्वविद्यालयों के लिए प्रेरणा
माननीय कुलाधिपति श्रीमती आनंदीबेन पटेल ने इस उपलब्धि पर सभी विश्वविद्यालयों की सराहना की। उन्होंने कहा कि गोरखपुर विश्वविद्यालय और अन्य रैंकिंग प्राप्त विश्वविद्यालयों द्वारा की गई पहलें प्रदेश के अन्य शिक्षण संस्थानों को भी प्रेरित करेंगी। राज्यपाल ने विश्वास व्यक्त किया कि इन प्रयासों से अगले वर्ष और भी अधिक विश्वविद्यालय एनआईआरएफ रैंकिंग में अपनी जगह बना पाएंगे, जिससे प्रदेश की शिक्षा व्यवस्था और सशक्त होगी।
कार्यक्रम में शामिल प्रतिनिधिमंडल
राजभवन में आयोजित इस सम्मान समारोह में कुलपति प्रो. पूनम टंडन के नेतृत्व में एक प्रतिनिधिमंडल भी मौजूद था। इस दल में प्रो. अजय सिंह, प्रो. दिनेश यादव, प्रो. मनीष कुमार श्रीवास्तव और डॉ. रामवंत गुप्ता शामिल थे, जिन्होंने विश्वविद्यालय की इस ऐतिहासिक सफलता को साझा किया।