गोरखपुर विश्वविद्यालय में आयोजित 'महिला हुनर हाट' के माध्यम से महिला उद्यमियों ने अपनी कला और हुनर का प्रदर्शन किया। यह आयोजन महिला स्वावलंबन और सशक्तिकरण की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम साबित हुआ।
गोरखपुर: दीनदयाल उपाध्याय गोरखपुर विश्वविद्यालय में आज 44वें दीक्षांत समारोह के उपलक्ष्य में ‘महिला हुनर हाट’ का आयोजन किया गया। महामहिम कुलाधिपति श्रीमती आनंदीबेन पटेल की प्रेरणा और कुलपति प्रो पूनम टंडन के मार्गदर्शन में, इस कार्यक्रम ने महिला स्वावलंबन और उद्यमिता को सशक्त गति देने का प्रयास किया।
महिला अध्ययन केंद्र और वी.एस. फाउंडेशन के संयुक्त तत्वावधान में गृह विज्ञान विभाग में सुबह 11:00 बजे से दोपहर 2:00 बजे तक चले इस आयोजन में कई महिला उद्यमियों ने भाग लिया। उन्होंने अपने कौशल, हुनर और पारंपरिक कलाओं का प्रदर्शन किया।
महिला उद्यमियों ने अपनी कला का प्रदर्शन किया
कार्यक्रम में लघु उद्यमिता से जुड़ी महिलाओं ने अपने हस्तनिर्मित क्राफ्ट और सजावटी वस्तुओं की प्रदर्शनी लगाई। इनमें श्रीमती वंदना (थ्रेड ज्वेलरी), रंजन श्रीवास्तव (अचार), उर्वशी श्रीवास्तव (अचार, मिलेट्स आटा और मसाले), विभा गुप्ता (मैक्रम वर्क से बने हैंडबैग और वॉल हैंगिंग), और कल्याणी कीर्ति सिंह (आधुनिक टेराकोटा कला) शामिल रहीं। विश्वविद्यालय के शिक्षकों और छात्रों ने इन उत्पादों की खूब सराहना की और खरीदारी भी की।
कार्यक्रम के मुख्य अतिथि प्रोफेसर राजवंत राव, अधिष्ठाता, कला संकाय, और प्रोफेसर नंदिता सिंह, प्रेसिडेंट, GUWWA, रहीं। प्रो. राजवंत राव ने इस पहल को महिला सशक्तिकरण और कौशल विकास की दिशा में एक सार्थक कदम बताया। कार्यक्रम का संचालन प्रो. दिव्या रानी सिंह, निदेशक महिला अध्ययन केंद्र, ने किया। वी.एस. फाउंडेशन की डायरेक्टर सुश्री संगीता मल्ल भी इस अवसर पर उपस्थित थीं।
एक प्रेरणादायक कदम
‘वूमेन्स हुनर हाट’ ने महिलाओं के हस्तकला की प्रतिभा को एक मंच दिया और समाज में उनकी भागीदारी व योगदान को नई पहचान प्रदान की। गृह विज्ञान विभाग के प्रांगण में आयोजित इस आयोजन में बड़ी संख्या में छात्र-छात्राओं और शिक्षकों ने भाग लिया, जिनमें डॉ प्रीति गुप्ता, डॉ गीता सिंह, डॉ अनुपमा कौशिक, और डॉ नीता सिंह प्रमुख थीं। सभी ने महिला उद्यमिता और कला-शक्ति को सराहते हुए इसे एक प्रेरणादायक कदम बताया।