How to use kitchen leftover: हर किचन में भोजन बचता ही है. बचे हुए भोजन को इस्तेमाल करना बचत, व्यंजनों में विविधता और भोजन की बर्बादी को कम करने का शानदार तरीका हो सकता है. मगर बचा हुआ भोजन खाना खतरनाक भी हो सकता है, क्योंकि यह जीवाणु के संपर्क में भी आ जाता है. अगर बचे हुए भोजन को सही तरीके से नहीं रखा और सही तरीके से गर्म नहीं किया तो विषाक्त भोजन की चपेट में आने का खतरा रहता है, जो जानलेवा भी हो सकता है. इसका मतलब यह नहीं है कि आप बचे हुए भोजन को खाना छोड़ दें. खाने को ठीक रखने के लिए सही तरीकों का पालन कर आप यह सुनिश्चित कर सकती हैं कि जब आप बचा हुआ भोजन करें तो परिवार के लोग बीमार न पड़ें.

बचे हुए भोजन को कितनी जल्दी फ्रिज में रखा जाए?
दुनिया में जीवाणु हर जगह मौजूद हैं. रसोई और उनके भीतर रखे खाद्य पदार्थ भी जीवाणु से अछूते नहीं हैं. भोजन को खराब करने वाले जीवाणु पोषक तत्वों, नमी और तापमान के साथ तेजी से बढ़ सकते हैं. कुछ की संख्या 20 मिनट में दोगुनी हो जाती है. यह बेहद जरूरी है कि बचे हुए खाने को दो घंटे के अंदर फ्रिज या फ्रीजर में रख देना चाहिए. कोशिश करें कि उसे पांच डिग्री सेल्सियस से कम तापमान पर रखें और उसे अच्छी तरह से ढका जाए. बचे भोजन को ढकने के लिए एयरटाइट ढक्कन का इस्तेमाल करें जो भोजन को हवा के संपर्क में आने से रोकता है.

फ्रिज में रखा भोजन को कब तक खाना सुरक्षित है
अपने फ्रिज को शून्य से पांच डिग्री के बीच के तापमान पर रखें, क्योंकि इतना तापमान बचे हुए भोजन में ऐसे जीवाणुओं को पनपने से रोकता है जो खाद्य विषाक्तता का कारण बनते हैं. बचे हुए खाने का दो दिन के अंदर सेवन कर लेना चाहिए, क्योंकि इसके बाद हानिकारक जीवाणु को पनपने का समय मिल जाता है. दरअसल, लिस्टेरिया जैसे रोगाणु फ्रिज के तापमान में भी पनप सकते हैं और दो दिन से अधिक वक्त के बाद इनके बढ़ने की अधिक संभावना अधिक होती है. बचे हुए खाने को शून्य से -18 डिग्री सेल्सियस के तापमान पर जमाकर तीन महीने तक रखा जा सकता है.

बचे हुए भोजन को कितनी बार गरम कर सकते हैं?
आपको बचे हुए भोजन को एक से अधिक बार गर्म नहीं करना चाहिए. खाना जब भी गर्म होता है और ठंडा होता है, तो यह किसी भी हानिकारक जीवाणु को फिर से पनपने के लिए सही तापमान और आवश्यक समय प्रदान करता है. जब आप बचे हुए खाने को दोबारा गर्म करते हैं, तो आपको यह सुनिश्चित करना चाहिए कि भोजन पूरी तरह गर्म हो. अगर ऐसा नहीं हो तो भोजन न खाएं. बचे हुए खाने को इतना गर्म किया जाना चाहिए कि खाने के अंदर का तापमान कम से कम 74 डिग्री सेल्सियस हो जाए. चटनी, सूप और ग्रेवी (तरी) को कम से कम तीन मिनट तक हिलाते हुए पूरी तरह उबालना सबसे अच्छा है.

Go Gorakhpur.com
Go Gorakhpur News Whatsapp Channel
Go Gorakhpur News on Google News

हमें वॉट्सऐप चैनल,
गूगल न्यूज़ पर फॉलो करें





By रिसर्च डेस्क

गो-गोरखपुर की रिसर्च टीम गोरखपुर अंचल के इतिहास, भूगोल, साहित्य, कला-संस्कृति, समाज पर केंद्रित आलेख ढेर सारे दस्तावेजों के अध्ययन के आधार पर तैयार करती है. तथ्यों के संकलन के क्रम में हम शहर के जानकार लोगों से बातचीत भी करते हैं. ऐसे आलेखों के पीछे पूरी टीम का सहयोग होता है, लिहाजा साझा श्रेय 'रिसर्च डेस्क' के नाम है.