- केंद्र सरकार तय करेगी कैदी जेल से कब होगा रिहा
Gorakhpur jail: गोरखपुर जिला कारागार में बंद पाकिस्तानी नागरिक मोहम्मद मसरूर उर्फ मंसूर अहमद उर्फ गुड्डू को जासूसी के आरोप में हाईकोर्ट ने दोषमुक्त करार दिया है. हालांकि बिना वीजा-पासपोर्ट के देश में प्रवेश करने का दोषी वह पाया गया है. वह जेल से रिहा होगा या नहीं इस पर अंतिम फैसला कोर्ट ने केंद्र सरकार पर छोड़ा है. मोहम्मद मंसूर करीब 15 साल से अधिक समय जेल में है. जेल प्रशासन ने इस बारे में शासन को सूचित किया है ताकि कानूनी कार्यवाही को आगे बढ़ाया जा सके. उसका मामला हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच में चल रहा था.
पाकिस्तान के करांची का रहने वाला मंसूर अहमद 2008 में बहराइच जिले से लगी नेपाल सीमा रूपन्देही से भारत में घुसा था. उसके पास न पासपोर्ट था न वीजा. पकड़े जाने पर पूछताछ में पुलिस को मंसूर की स्थिति संदिग्ध लगी और उसे शासकीय गुप्त अधिनियम, आपराधिक साजिश, बिना पासपोर्ट के प्रवेश सहित अन्य आरोपों में गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया. पुलिस ने उसके खिलाफ जांच कर चार्जशीट दाखिल की थी. सुनवाई के बाद नौ अप्रैल 2013 को बहराइच कोर्ट ने मंसूर को आजीवन कारावास की सजा सुनाई थी. उस पर आर्थिक दंड भी लगाया गया था. इसके बाद प्रशासनिक आधार पर मंसूर को वाराणसी से गोरखपुर जिला जेल स्थानांतरित कर दिया गया था.
जासूसी के मामले में कोर्ट ने किया है बरी
पाकिस्तानी नागरिक को कोर्ट ने जासूसी सहित अन्य मामलों में दोषमुक्त किया है. उसे सिर्फ बिना वीजा-पासपोर्ट के प्रवेश करने का दोषी पाया गया है. इसकी तय सजा से अधिक समय वह जेल में रह चुका है. आगे की कार्रवाई के लिए जेल प्रशासन की ओर से पत्राचार किया गया है.