मदन मोहन मालवीय प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय (MMMUT), गोरखपुर का दशम दीक्षांत समारोह संपन्न हुआ, जिसमें राज्यपाल आनंदीबेन पटेल और इसरो अध्यक्ष डॉ वी नारायणन ने 1473 छात्रों को उपाधियाँ प्रदान कीं। इस समारोह में 45 मेधावी छात्रों को स्वर्ण पदक से सम्मानित किया गया।
गोरखपुर: मदन मोहन मालवीय प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय (MMMUT), गोरखपुर में मंगलवार को विश्वविद्यालय का दशम दीक्षांत समारोह भव्यता के साथ संपन्न हुआ। इस समारोह की अध्यक्षता उत्तर प्रदेश की माननीय राज्यपाल और विश्वविद्यालय की कुलाधिपति श्रीमती आनंदीबेन पटेल ने की। समारोह के मुख्य अतिथि इसरो के अध्यक्ष और भारत सरकार के अंतरिक्ष विभाग के सचिव डॉ वी नारायणन थे, जबकि विशिष्ट अतिथि मत्स्य विभाग, उत्तर प्रदेश सरकार के मंत्री डॉ संजय निषाद और पावर ग्रिड कॉर्पोरेशन ऑफ इंडिया के कार्यकारी निदेशक श्री युगेश कुमार दीक्षित विशेष अतिथि के रूप में उपस्थित रहे।
समारोह की शुरुआत शैक्षणिक शोभायात्रा के साथ हुई, जिसके बाद विद्यार्थियों ने ‘वंदे मातरम्’ का गायन किया। इसके उपरांत, कुलाधिपति महोदया ने दीक्षांत समारोह के औपचारिक आरंभ की घोषणा की। कुलपति प्रोफेसर जे पी सैनी ने उपाधि प्राप्त करने वाले विद्यार्थियों को ‘सत्य बोलो’, ‘धर्म का आचरण करो’, ‘माता-पिता-आचार्य-अतिथि को देवता मानो’ जैसे पारंपरिक मूल्यों का पालन करने का दीक्षोपदेश दिया।
उपाधि और स्वर्ण पदक: 1473 विद्यार्थी हुए सम्मानित
इस वर्ष के दीक्षांत समारोह में कुल 1473 विद्यार्थियों को उपाधियाँ प्रदान की गईं, जिनमें 1089 पुरुष और 384 महिला अभ्यर्थी शामिल थे। इसमें बी.टेक. के 1064 छात्र, बी.बी.ए. के 70, बी.फार्म. के 65, एम.टेक. के 47, एम.बी.ए. के 72, एम.सी.ए. के 68, एम.एस.सी. के 44 और पी.एच.डी. के 44 विद्यार्थी शामिल रहे।

मेधावी छात्रों को कुल 45 स्वर्ण पदक दिए गए, जिनमें 3 कुलाधिपति स्वर्ण पदक, 19 कुलपति स्वर्ण पदक और 23 प्रायोजित स्वर्ण पदक शामिल थे। पहली बार दिए गए तीनों कुलाधिपति स्वर्ण पदक छात्राओं ने प्राप्त किए, जिनमें बी.फार्म. की मृडानी त्रिपाठी (स्नातक पाठ्यक्रम), बी.बी.ए. की ऋद्धि वैश्य (तीन वर्षीय स्नातक), और एम.टेक. (वी.एल.एस.आई.) की अर्चना आनंद (परास्नातक) शामिल हैं। बी.टेक. कंप्यूटर साइंस के टॉपर दिव्यांश तिवारी को सर्वाधिक 5 स्वर्ण पदक प्रदान किए गए।
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मुख्य अतिथियों का संबोधन और महत्वपूर्ण घोषणाएं
मुख्य अतिथि डॉ वी नारायणन को डॉक्टर ऑफ साइंस की मानद उपाधि से सम्मानित किया गया। विशेष अतिथि श्री युगेश कुमार दीक्षित ने छात्रों को जीवन भर सीखते रहने और अपने काम के प्रति ईमानदार रहने की सलाह दी। उन्होंने बताया कि पावरग्रिड द्वारा सी.एस.आर. के तहत विश्वविद्यालय में 13.67 करोड़ रुपये की लागत से ‘पावरग्रिड गर्ल्स हॉस्टल’ का निर्माण किया जाएगा, जिसके लिए समझौता ज्ञापन पर भी हस्ताक्षर हुए।
राज्यपाल श्रीमती आनंदीबेन पटेल ने अपने अध्यक्षीय उद्बोधन में विश्वविद्यालय को एक मॉडल विश्वविद्यालय बनने की दिशा में आगे बढ़ने की सराहना की। उन्होंने छात्रों से समाज और देश के लिए काम करने का संकल्प लेने का आह्वान किया। राज्यपाल ने गांव के बच्चों को शिक्षा और प्रौद्योगिकी से जोड़ने पर जोर दिया और कहा कि गांवों में लाइब्रेरी बनाकर उनकी प्रतिभा को तराशने की जरूरत है। उन्होंने छात्रों से ए.आई. और साइबर फ्रॉड की जानकारी गांव तक पहुंचाने की अपील की। राज्यपाल ने राजभवन की ओर से गोद लिए गए गांवों के स्कूलों को 501 किताबें भी भेंट कीं।
समारोह में ‘इंजीनियरिंग फिजिक्स’, ‘योगपथ’ सहित कई पुस्तकों का विमोचन हुआ। साथ ही, प्रो. बी.के. पांडेय, प्रो. डी.के. द्विवेदी, प्रो. आर.के. यादव और प्रो. राकेश कुमार को ‘एकेडमिक एंड रिसर्च एक्सीलेंस अवार्ड’ से सम्मानित किया गया।
समारोह में विश्वविद्यालय द्वारा गोद लिए गए 5 गांवों के 22 स्कूली बच्चे भी शामिल हुए। दीक्षा उत्सव की प्रतियोगिताओं में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले 4 बच्चों को मेडल और प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया गया।
कार्यक्रम का समापन कुलसचिव डॉ. सी.पी. प्रियदर्शी के धन्यवाद ज्ञापन के साथ हुआ। समारोह में शहर के गणमान्य नागरिकों, जिला प्रशासन के अधिकारियों, विश्वविद्यालय के पुरातन छात्रों, शिक्षकों और कर्मचारियों ने भाग लिया।